बागेश्वर : जिलाधिकारी ने जनता दरबार में सुनी जनसमस्याएं, दिए तत्काल निस्तारण के निर्देश

बागेश्वर न्यूज़ :- जिलाधिकारी आशीष भटगांई द्वारा सोमवार को तहसील सभागार में आयोजित जनता दरबार में जनपदवासियों की समस्याएं सीधे तौर पर सुनी गईं। जिलाधिकारी ने प्रत्येक शिकायत को गंभीरता से लिया और संबंधित विभागों को शीघ्र समाधान के लिए निर्देशित किया, जिसमें कुल 14 शिकायतें प्राप्त हुई।

जिलाधिकारी के जनता दरबार में मेहनरबूंगा निवासी नवनीत बिष्ट ने अपने आवासीय भवन के पास स्थित पेड़ से खतरे की आशंका जताते हुए उसके पातन का अनुरोध किया। इस पर जिलाधिकारी ने उपजिलाधिकारी को मौके का निरीक्षण कर आवश्यक कार्यवाही सुनिश्चित करने के निर्देश दिए वहीं, देवलचौरा निवासी नारायण सिंह ने अपने किरायेदार द्वारा अभद्रता करने और मकान खाली न करने की शिकायत दर्ज कराई। जिलाधिकारी ने इस मामले में पुलिस अधीक्षक एवं उपजिलाधिकारी को नियमानुसार जांच कर उचित कार्रवाई करने के निर्देश दिए।

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जनता दरबार में सड़क और निर्माण संबंधी मुद्दे भी उठे। मेहनरबूंगा के ही देव राम ने बिलौना-मेहनरबूंगा-दफौट बाईपास मोटर मार्ग निर्माण के दौरान उनकी भूमि पर डाले गए मलबे को कई साल बीत जाने के बाद भी न हटाए जाने की शिकायत की। जिलाधिकारी ने इस पर नाराजगी जताते हुए लोनिवि के अधिशासी अभियंता को मलबा हटवाकर रिपोर्ट प्रस्तुत करने के निर्देश दिए। गापानी क्षेत्र के ग्रामीणों ने ओखलधार-गापानी से कमेटपानी तक सड़क सर्वे की मांग रखी, जिस पर जिलाधिकारी ने अधिशासी अभियंता लोनिवि को नियमानुसार कार्यवाही करने के निर्देश दिए। इसी प्रकार, ढपटी निवासी दान सिंह ने विजयपुर-ढपटी-बासतोली मोटर मार्ग निर्माण के कारण क्षतिग्रस्त हुए अपने भवन की सुरक्षा दीवार की मरम्मत की मांग उठाई।

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भूमि संबंधी मामलों में मंडलसेरा निवासी मोहन गिरि ने अपनी भूमि की भौतिक तस्दीक कराने का अनुरोध किया, जबकि कठायतबाड़ा निवासी गोविंद सिंह ने पड़ोसी द्वारा उनकी जमीन पर किए गए अतिक्रमण को हटाने की गुहार लगाई। तहसील रोड निवासी पुष्कर सिंह ने पानी का बिल माफ करने का अनुरोध पत्र सौंपा। इनके अतिरिक्त अन्य फरियादियों ने भी अपनी विभिन्न समस्याओं और शिकायतों को जिलाधिकारी के समक्ष रखा। जिलाधिकारी ने सभी मामलों का संज्ञान लेते हुए उपस्थित अधिकारियों को स्पष्ट निर्देश दिए कि जनता दरबार में प्राप्त सभी शिकायतों का प्राथमिकता के आधार पर, नियमानुसार समाधान सुनिश्चित किया जाए, तथा इसकी सूचना संबंधित शिकायतकर्ता को भी अनिवार्य रूप से देने के निर्देश दिए।

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